शुक्र गृह के प्रभाव और उपाय | प्रेम संबंध और वैवाहिक जीवन में अनबन का मुख्य कारण

By | June 13, 2018

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार एक जातक के जीवन में स्त्री सुख का कारक गृह शुक्र गृह है | शुक्र गृह के प्रभाव से ही जातक अपने प्रेम संबंध और वैवाहिक जीवन में सुख प्राप्त करता है | इसके साथ ही सुंदर व्यक्तित्व और धन-सम्पति का कारक भी गृह शुक्र गृह ही है | शुक्र गुरु को दैत्यों का गुरु कहा गया है और सभी भौतिक वस्तुओं यानी सभी प्रकार के भोग शुक्र गृह के अधीन आते है | जैसे : धन सम्पति, स्त्री सुख, सुंदर व्यक्तित्व ये सभी सुख, शुक्र गृह/(Shukra Grah ke Prabhav or Upay)के फलादेश अनुसार ही एक जातक अपने जीवन में भोगता है |

Shukra Grah ke Prabhav or Upay

शुक्र गृह के प्रभाव :-

शुक्र गृह को सीधे पृथ्वी से देखा जा सकता है इसलिए इसका सीधा-सीधा प्रभाव मानव जीवन पर पड़ता है | जिस जातक की कुंडली में शुक्र गृह नीच का हो यानि कमजोर हो तो ऐसे में शुक्र गृह से शुभ फल प्राप्त नहीं होते और जातक जीवन भर स्त्री सुख और धन के लिए संघर्ष करता रहता है |

Shukra Grah ke Prabhav or Upay

प्रेम संबंधों में अनबन :-

आज के युवक प्रेम संबंधो में कुछ ज्यादा ही रूचि रखते है और विवाह से पहले ही अपने जीवन साथी से प्रेम कर बैठते है व बाद में विवाह करने का मन बनाते है | किन्तु ऐसा सभी के लिए संभव नहीं हो पाता | बहुत से प्रेमी युगल तो प्रेम में असफल होकर वशीकरण जैसी विद्या का सहारा लेते है तो कुछ मानसिक रूप से विकृत होने लगते है, इन सभी समस्याओं का मुख्य कारण शुक्र गृह का कमजोर होना है | जिस जातक की कुंडली में शुक्र गृह की स्थिति ठीक होती है और शुक्र गृह शुभ फल देता है उसके जीवन में कभी भी प्रेम संबंध को लेकर अनबन नहीं होती |

विवाह में विलम्ब होना : –

एक जातक के जीवन में सम्पूर्ण वैवाहिक सुख का कारण शुक्र गृह की स्थिति ही है | शुक्र गृह कमजोर होने पर जातक के विवाह में देरी होने लगती है | सगाई टूटना, विवाह के बाद जीवन साथी के साथ अनबन रहना, यहाँ तक की तलाक होना भी शुक्र गृह की कमजोर स्थिति ही कारण बनती है/ (Shukra Grah ke Prabhav or Upay)|

शारीरिक कष्ट :-

मधुमेह, कुष्ट रोग, मूत्राशय संबधी रोग, प्रमेह, गर्भाशय के रोग और गुप्त रोगों का कारण भी शुक्र गृह की कमजोर स्थिति ही है | इन सभी रोगों में शुक्र गृह के उपाय करने से लाभ मिलता है |

अन्य जानकारियाँ :- 

शुक्र गृह की कमजोर स्थिति को दूर करने के उपाय : –

उपरोक्त सभी कष्ट होने पर यह साफ़ प्रतीत होता है कि जातक शुक्र गृह से पीड़ित है लेकिन फिर भी नीचे दिए गये उपायों को करने से पहले एक बार किसी अच्छे ज्योतिष से अपनी कुंडली अवश्य दिखा लेनी चाहिए और पूर्ण विश्वास होने पर ही शुक्र गृह के उपाय करने चाहिए | आइये जानते है कमजोर शुक्र गृह के लिए कौन-कौन से उपाय किये जाने चाहिए : –

  • शुक्र गृह कमजोर होने पर नियमित रूप से पूजा के समय इस मंत्र के 108 जप करने से लाभ मिलता है | मंत्र इस प्रकार है : ऊँ द्रां द्रीं द्रौं स: शुक्राय नम:| 
  • शुक्रवार की सुबह भगवान श्री विष्णु और माँ लक्ष्मी के मंदिर जाकर उन्हें फूलों का हार चढ़ाये व एक पानी वाले नारियल पर लाल वस्त्र लपेटकर मंदिर में भगवान विष्णु व माता लक्ष्मी के चरणों में अर्पित करें | यह प्रयोग 8 शुक्रवार तक करने से शुक्र गृह को बल मिलता है व अवश्य ही लाभ प्राप्त होता है |
  • हीरा व जेरेकन रत्न धारण करने से भी शुक्र गृह को बल प्राप्त होता है | ग्रहों को बल देने में रत्न धारण करना एक अच्छा विकल्प है लेकिन यह ध्यान दे कि गलत रत्न न पहने व नकली रत्न पहनने से भी बचे | 100% शुद्ध रत्न प्राप्त करने के लिए आप अल्टीमेट ज्ञान संस्थान से संपर्क कर सकते है | contact no. 9671528510 |
  • दुर्गा सप्तसती व सिद्ध कुंजिका का पाठ भी शुक्र गृह/(Shukra Grah ke Prabhav or Upay) को बल प्रदान करता है |