6 मुखी रुद्राक्ष के लाभ | सिद्ध-अभिमंत्रित व इसे धारण करने की विधि

By | August 19, 2018

रुद्राक्ष की उत्पत्ति भगवान शिव के रूद्र से हुई है इसलिए इसका नाम रुद्राक्ष पड़ा | रुद्राक्ष को पूर्ण विधिवत व श्रद्धा अनुसार धारण करने से भगवान शिव की तो विशेष कृपा प्राप्त होती ही है साथ में रुद्राक्ष को उनके मुख के अनुसार धारण करने से अलग-अलग देवों द्वारा भी आशीर्वाद प्राप्त होता है | एक से लेकर 14 मुखी तक के सभी रुद्राक्षों में अलग-अलग देवों का आशीर्वाद निहित होता है | आज हम आपको 6 मुखी रुद्राक्ष(6 Mukhi Rudraksha Benefits in Hindi) के महत्व और इसे सिद्ध करने के उपरान्त धारण करने की विधि के विषय में जानकारी देने वाले है |

6 मुखी रुद्राक्ष : –

6 मुखी रुद्राक्ष को भगवान शिव के पुत्र भगवान कार्तिकेय का स्वरुप माना गया है | ज्योतिष के प्रभाव अनुसार इस रुद्राक्ष को धारण करने से शुक्र मजबूत बनता है | शुक्र जनित दोषों को दूर करने में यह रुद्राक्ष बहुत प्रभावी सिद्ध होता है | पुराण अनुसार 6 मुखी रुद्राक्ष को धारण करने से ब्रह्म हत्या जैसे भयंकर पाप से भी मुक्ति मिलती है (6 Mukhi Rudraksha Benefits in Hindi)|

6 Mukhi Rudraksh Benefits in hindi

6 Mukhi Rudraksha Benefits in Hindi :

6 मुखी रुद्राक्ष के लाभ : –

6 मुखी रुद्राक्ष को विधिवत धारण करने से भगवान शिव , भगवान कार्तिकेय और शुक्र गुरु से आशीर्वाद प्राप्त होने के साथ-साथ और भी बहुत से  लाभ प्राप्त होते है जैसे : –

  • तीव्र बुद्धि और ज्ञान की प्राप्ति के लिए 6 मुखी रुद्राक्ष को धारण किया जाना चाहिए |
  • स्वयं में नेतृत्व क्षमता का विकास करने के लिए भी आप 6 मुखी रुद्राक्ष को धारण कर सकते है |
  • 6 मुखी रुद्राक्ष शुक्र ग्रह से सम्बंधित होने कारण इसे धारण करने से धन-लक्ष्मी और वैवाहिक सुख की अनुभूति होती है |
  • छहः मुखी रुद्राक्ष पहनने से जीवन से हर प्रकार की दरिद्रता दूर होती है |
  • विद्यार्थी के लिए छहः मुखी रुद्राक्ष को धारण करना श्रेष्ठ माना गया है | इससे उनकी बुद्धि का विकास होता है व हर परीक्षा में सफलता प्राप्त होती है |
  • तुला और वृषभ राशी के लिए छहः मुखी रुदाक्ष पहनना शुभ होता है |
  • शरीर से रोगों को दूर करने में भी छहः मुखी रुद्राक्ष को धारण किया जा सकता है |
  • कुंडली में शुक्र गृह कमजोर होने पर छहः मुखी रुद्राक्ष धारण किया जाना चाहिए |

6 Mukhi Rudraksha Benefits in Hindi

रुद्राक्ष को सिद्ध करने की विधि : –

सिद्ध रुद्राक्ष को गले में धारण करने से इसका प्रभाव 100 गुना अधिक बढ़ जाता है | इसलिए आप कोई भी रुद्राक्ष धारण करने का मन बनाये तो पहले इसे सिद्ध अवश्य करें | रुद्राक्ष को सिद्ध करने के लिए रुद्राक्ष की विधिवत पूजा के साथ-साथ ॐ नमः शिवाय मंत्र के 5000 संख्या में जप करें और अंत में हवन करें | हवन में अधिक अधिक से आहुतियाँ ॐ नमः शिवाय मंत्र की दे | हवन के अंत में रुद्राक्ष को 21 बार हवन के ऊपर से घुमाये व हवन की विभूति से तिलक करें | अल्टीमेट ज्ञान संस्थान द्वारा 6 मुखी सिद्ध रुद्राक्ष प्राप्त करने के लिए आप इस नंबर द्वारा संपर्क कर सकते है : 9671528510  |

6 mukhi rudraksh ke labh

6 मुखी रुद्राक्ष को धारण करने की विधि : –

6 मुखी रुद्राक्ष को अभिमंत्रित करने की विधि : –

सबसे पहले रुद्राक्ष को पंचामृत( दूध-दही-घी-शहद-गंगाजल के मिश्रण) से स्नान कराये | इसके पश्चात् शुद्ध जल से स्नान कराये | अब रुद्राक्ष को गंगाजल से स्नान कराये | इतना करने के उपरांत रुद्राक्ष को पूजास्थल पर लाल कपड़ा बिछाकर रख दे | अब दीपक प्रज्वल्लित करें व रुद्राक्ष की विधिवत पूजा करें( रुद्राक्ष को कुमकुम से तिलक करें, पुष्प अर्पित करें, अक्षत(चावल) अर्पित करें, मीठे का भोग लगाये) |

रुद्राक्ष पूजन के पश्चात् हाथ में जल लेकर परमपिता परमेश्वर से इस प्रकार आग्रह करें : – हे परमपिता परमेश्वर मैं( अपना नाम बोले) गोत्र(अपना गोत्र बोले) छः मुखी को अभिमंत्रित करने हेतु ॐ नमः शिवाय मंत्र के जप कर रहा हूं मुझे इस कार्य में सफलता प्रदान करें, मेरे कार्य में किसी प्रकार की कोई गलती हो गयी हो तो मुझे क्षमा करें | ऐसा कहते हुए जल को नीचे जमीन पर छोड़ दे | अब भगवान शिव का ध्यान करते हुए अधिक से अधिक संख्या में ॐ नमः शिवाय मन्त्र के जप करें |

सम्बंधित जानकारियाँ : –

मंत्र जप के पश्चात् शिव मंदिर जाकर विधिवत शिवलिंग पूजा करें व रुद्राक्ष को शिवलिंग से स्पर्श कराकर शिवलिंग के समक्ष ही आप रुद्राक्ष को गले में धारण करें | इस प्रकार आप 6 मुखी रुद्राक्ष(6 Mukhi Rudraksha Benefits in Hindi) को विधिवत धारण करके अपने जीवन से हर दुःख-दरिद्रता को दूर कर सकते है |